महानरेगा में 50 रूपये से कम मजदूरी
Posted On at by NREGA RAJASTHANसहकारिता मंत्री परसादीलाल मीणा ने शिविर में उपस्थित एक-एक व्यक्ति की समस्या सुनी तथा उनका समाधान कराया। शिविर में 3 विधवाओं के बच्चों को विधवा पालनहार योजना में लाभान्वित किया गया। ह्र उल्लेखनीय है कि इस योजना के तहत समाज के वे बच्चे ,जिनके पिता की मृत्यु हो गयी हो तथा उनके पालन-पोषण उनकी विधवा माता द्वारा किया जा रहा हो ,उस विधवा महिला के लिये एक बच्चे के पालन पोषण के लिये 675 रूपये प्रति माह अनुदान दिये जाने का प्रावधान है। शिविर में 10 वृद्धावस्था पेंशन, 9 विधवा पेंशन तथा 3 विकलांग पशन प्रकरण निपटाए गए। शिविर में सहकारिता विभाग द्वारा 70से अधिक व्यक्तियों को साख सीमा वाले प्रमाण पत्र जारी किए गए। इसके पश्चात सहकारिता मंत्री के निर्देश पर शेष सभी किसानो को ऋण प्रदान कर दिया गया। सहकारिता मंत्री ने बताया कि महानरेगा में 50 रूपये से कम मजदूरी पर संबधित अधिकारी के विरूद्ध कडी कार्यवाही की जायेगी। उन्होंने क्षेत्र में विद्युत समस्या समाधान के लिए दूरभाष पर अधीक्षण अभियंता को निर्देश दिए। उन्होने बताया कि ग्राम पंचायत में राजीव गांधी ग्रामीण विद्युतीकरण योजना में सभी पात्र व्यक्तियो को कनेशन उपलब्ध करवाने की व्यवस्था करे। शिविर के दौरान नामान्तकरण व खातेदारी बटवारे के प्रकरणो का निस्तारण किया गया ।
सहकारिता मंत्री ने शिविर में आए ग्रामीणों को संबोधित करते हुए कहा कि ग्रामीणों की समस्याओं के प्रभावी समाधान के लिए अभियान के माध्यम से सरकार ने अधिकारियों को गांवों में भेजा है। शिविर में 18 विभागों के अधिकारी आफ गांव में आये हैं। शिविर का उद्देश्य आमजन की समस्याओं का समाधान गांव में बैठकर ही करना है। उन्होंने कहा कि जिला प्रशासन सबके सहयोग से इस जिले में आयोजित किए जा रहे शिविरों में अच्छा काम कर रहा है। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि किसी भी शिविर में ज्यादा काम होने पर भी काम पूरा निपटाकर ही शिविर से प्रस्थान करें। उन्होंने बीपीएल परिवारों को विद्युत कनेशन निर्धारित समय पर जारी करनें के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार द्वारा रास्तों के विवादों को देखते हुए एक नया कानून बनाया जा रहा है जिसमें रास्ता देना अनिवार्य होगा। उन्होंने कहा कि गांवों का विकास तेजी से हो और सभी सम्पन्न बने इसके लिए केन्द्र सरकार द्वारा कई योजनाएं भेजी जा रही है। उन्होंने संस्थागत प्रसव पर जोर देते हुए कहा कि जच्चा-बच्चा स्वस्थ्य हो इसके लिए राज्य सरकार अच्छी से अच्छी चिकित्सा सुविधा देने के लिए प्रयासरत है लेकिन इसमें आमजन भी सहयोग करें। उन्होंने कहा कि राज्य में 36 लाख बीपीएल परिवारों को 2 रुपए किलो की दर से गेहूं उपलध कराया जा रहा है। इससे पूर्व प्रधान गंगासहाय बैरवा , शिविर प्रभारी एवॅ उप खण्ड अधिकारी कमरूदीन खान ने शिविर में ग्रामीणो की समस्याएँ सुनी तथा उनका समाधान कराया। इस अवसर पर ग्राम पंचायत बिदरखा के सरपंच रामकरण मीणा ने क्षेत्र की समस्याओ के बारे मे जानकारी दी तथा शीघ्र समाधान करवाने का आग्रह किया।
महानरेगा में फर्जी खरीद और घटिया निर्माण, 50 लाख का घपला
Posted On at by NREGA RAJASTHANनागौर के गच्छीपुरा पंचायत में स्पेशल ऑडिट में मिली कई गड़बडिय़ां, ग्रेवल सड़क, नाडी और नाली का घटिया निर्माण
जयपुर। फर्जी फर्मों से खरीद कर ली और मौके पर फर्में मिली ही नहीं। ग्रेवल सड़कों का निर्माण कर दिया और नाप में सही नहीं मिली। नालियों का निर्माण बताया कहीं और किया कहीं। टांके बनवाए, लेकिन पानी रुकता ही नहीं। ये सारी गड़बडिय़ां राज्य सरकार की ओर से नागौर जिले की मकराना पंचायत समिति की गच्छीपुरा में महानरेगा के कामों की कराई गई स्पेशल ऑडिट में सामने आई हैं। इनमें 50 लाख रुपए से अधिक का घपला पाया गया है। इस ऑडिट के बाद संबंधित लोगों के खिलाफ कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं।
मकराना पंचायत समिति की सभी पंचायतों में दीवारों पर वाल पेंटिंग कराए बिना ही 3.10 लाख रुपए का भुगतान उठाने के मामले में संबंधित एसडीएम के खिलाफ भी कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं। सोशल ऑडिट के संयुक्त निदेशक एम.एस. भाकर के नेतृत्व में की गई स्पेशल ऑडिट में एईएन अर्जुन सिंह और एकाउंटेंट बलबीर सिंह शामिल थे।
ये मिली गड़बडिय़ां :
—सरपंच ने निर्माण आदि के लिए फर्जी फर्मों के नाम से 36.50 लाख रुपए का भुगतान उठा लिया। वास्तव में जांच की गई, तो मौके पर ऐसी फर्में मिली ही नहीं।
—ग्रेवल सड़क, नाडी और नालियों के काम में गड़बडिय़ां पाई गई। ग्रेवल सड़क में मौके पर काम नहीं किया हुआ मिला।
—नाडी में खुदाई पूरी नहीं थी। इसके लिए बनाई दीवार में दरारें थीं, नींव सही भरी नहीं थी। घटिया सामग्री का इस्तेमाल किया गया था।
—नालियां कागजों में कहीं दिखाई और काम कहीं और था। ये गड़बडिय़ां 11.50 लाख रुपए की आंकी गई।
—विभिन्न कामों के संबंध में एमबी में 2.75 लाख रुपए का काम निर्धारित दरों से अधिक बताया गया था।
—मस्टररोल में 38 हजार रुपए के भुगतान ज्यादा पाए गए। मौके पर लोग कम और नाम अधिक दर्ज बताए गए थे।
—एक्सईएन सीताराम और एईएन दिलीप बरनिया ने मौका निरीक्षण नहीं किया और तकनीकी मंजूरी निकाल दी।
—सोशल ऑडिट से पहले वाल पेंटिंग तो नहीं करवाई, लेकिन 3.20 लाख रुपए का फर्जी भुगतान उठा लिया गया।
—ग्राम पंचायत क्षेत्र में पांच टांके बनवाए गए। इनमें घटिया सामग्री का इस्तेमाल किया गया, जिसके कारण एक टांके में तो पानी रुकता ही नहीं।